मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में प्रशासन ने गुरुवार को कथित ‘मछली’ परिवार की तीन मंजिला आलीशान कोठी को जमींदोज़ कर दिया। कोकता/हाताईखेड़ा इलाके में बने इस भवन को अवैध निर्माण करार देते हुए जिला प्रशासन और पुलिस की संयुक्त टीम ने भारी पुलिस बल की मौजूदगी में बुलडोज़र चलाया।
प्रशासन की कार्रवाई
कार्रवाई सुबह से ही शुरू हुई और कई घंटों तक चली।
जेसीबी मशीनों और राजस्व विभाग की टीम ने इमारत को तोड़ दिया।
आसपास के क्षेत्र में सुरक्षा व्यवस्था के लिए बड़ी संख्या में पुलिसबल तैनात रहा।
अधिकारियों का कहना है कि संबंधित परिवार ने नोटिस मिलने के बावजूद ज़मीन और निर्माण से जुड़े वैध दस्तावेज़ प्रस्तुत नहीं किए।
प्रशासन के अनुसार, यह इमारत करोड़ों रुपये की अवैध संपत्ति का हिस्सा थी और इसे ध्वस्त करना ज़रूरी था।
ड्रग रैकेट और अन्य आरोपों से जुड़ाव
हाल ही में भोपाल में पुलिस ने “ऑपरेशन क्रिस्टल ब्रेक” के तहत मेफेड्रोन (MD) जैसे नशीले पदार्थों की बड़ी खेप जब्त की थी। जांच में सामने आया कि इस नेटवर्क से कथित तौर पर ‘मछली’ परिवार के कुछ सदस्य भी जुड़े रहे हैं।
परिवार पर ड्रग्स तस्करी, बलात्कार और कथित ‘लव जिहाद’ जैसे मामलों में भी आरोप लगे हैं।
कुछ सदस्यों की गिरफ्तारी हो चुकी है और पुलिस ने उनके मोबाइल-लैपटॉप से आपत्तिजनक सामग्री बरामद करने का दावा किया है।
प्रशासन का कहना है कि अपराध से अर्जित अवैध संपत्तियों पर अब सख्त कार्रवाई जारी रहेगी।
पहले भी हुई थी कार्रवाई
यह पहली बार नहीं है जब इस परिवार की संपत्तियों पर बुलडोज़र चला हो।
पिछले महीने भी प्रशासन ने परिवार से जुड़ी कई अवैध इमारतों को तोड़ा था।
उस समय भी करोड़ों की अवैध संपत्ति ध्वस्त की गई थी।
अधिकारियों का कहना है कि जांच में जैसे-जैसे अवैध निर्माण सामने आएंगे, कार्रवाई आगे भी जारी रहेगी।
सरकार का रुख
राज्य सरकार और पुलिस विभाग का कहना है कि—
महिलाओं के खिलाफ अपराध, नशीले पदार्थों की तस्करी और अवैध कमाई से बनाई गई संपत्तियों को किसी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।
यह कार्रवाई “ज़ीरो टॉलरेंस” नीति का हिस्सा है।
प्रशासन ने साफ कहा है कि अवैध संपत्तियां गिराने का अभियान नियमित रूप से चलता रहेगा।
आगे की दिशा
पुलिस ड्रग रैकेट और बलात्कार जैसे मामलों की जांच जारी रखे हुए है।
परिवार के खिलाफ आय स्रोतों और अन्य अचल संपत्तियों की भी जांच हो रही है।
सूत्रों के मुताबिक, आगे और भी संपत्तियों पर बुलडोज़र चल सकता है।
निष्कर्ष
भोपाल में हुई यह कार्रवाई न केवल प्रशासन की सख्ती का उदाहरण है, बल्कि यह संदेश भी देती है कि ड्रग्स और अन्य अपराधों से अर्जित अवैध संपत्तियां अब सुरक्षित नहीं रहेंगी। मामले की जांच जारी है और अंतिम निर्णय अदालत के आदेशों पर ही निर्भर करेगा।
